घाम, एलर्जी ,छपाकी या त्वचा में खारिश होने का आयुर्वेदिक इलाज

           यह समस्या हमें कई कारणों से हो सकती है ।हमारे लीवर का सही काम ना करना, पेट में कीड़े होना, हमारी त्वचा का कमजोर पड़ना इत्यादि।

उपाय-
           यदि हमारी त्वचा पर खारिश रहती है और छोटे छोटे दाने निकल आते हैं या कहीं  कहीं पर हल्का हल्का लाल हो जाता हैै।

१. हरिद्राखण्ड   -  एक एक चम्मच सुबह शाम खाली पेट दूध के साथ, पानी से भी ले सकते हैंै

2. अविपत्तिकर चूर्ण - आधा-आधा चम्मच सुबह शाम खाना खाने के बाद।


      यदि खारिश की समस्या अधिक समय से चल रही हो जैसे कि तीन चार महीने या साल तो  उपरोक्त दवाई के साथ लें

3   लिवोसिप या लिव अमृत   -एक एक चम्मच सुबह-शाम 
                                     खाना खाने के बाद

यदि हमारी त्वचा पर घाम और छपाकी निकल आती है तो उपरोक्त दवाई के साथ लें

४. विडंगासव - रात को सोते समय दो चम्मच पानी और दो चम्मच दवाई मिला कर लें और बाद में चाहे तो पानी पी सकते हैं । 
विडंगासव से एक घंटा पहले और एक घंटा बाद दूध या दूध से बनी कोई चीज ना ले। 

आवश्यकतानुसार दवाई का सेवन करते रहें।

कायाकल्प तेल

        यदि त्वचा पर खारिश परेशान करती हो तो कायाकल्प तेल लगाएं।

यदि हमारी त्वचा खुश्क dry रहती  है तो नहाने के बाद नाभि और पूरे शरीर पर थोड़ा सा सरसों का तेल लगाएं।

बाकूची पाउडर  

             सफेद दाग    
               कई बार  चेहरे या त्वचा के किसी और भाग पर सफेद दाग हो जाते हैं। बाकुची पाउडर लगाएं।
यह
       उपाय त्वचा संबंधी कई प्रकार की समस्याओं को दूर करते हैं।

एग्जिमा
    यदि एग्जिमा की समस्या हो तो सरसों के तेल को अच्छी तरह से गर्म कर ले और उसमें नीम की पतियों डाल दें। साथ ही तेल को गैस पर से उतार दें ,नहीं तो नीम की पत्तियां जल जाएंगी। कुछ समय तेल में पत्तियों को पड़ा रहने दें और बाद में शीशी में छान कर रख लें। एग्जिमा वाले स्थान पर लगाएं।

हरिद्राखण्ड   -  एक एक चम्मच सुबह शाम खाली पेट दूध के साथ, पानी से भी ले सकते हैं।

2. अविपत्तिकर चूर्ण आधा-आधा चम्मच सुबह शाम खाना खाने के बाद।

हाथों पर कट लगना

                 यदि हमारी त्वचा पर बिना कुछ लगे ही कट लग जाता है ,तो त्वचा पर बोरोलिन लगाएं । यह परेशानी अधिकतर हाथों में होती है। यदि हम बार-बार साबुन से हाथ होते हैं और उसके बाद कोई चिकनाई हाथों पर नहीं लगाते तब भी यह समस्या होने लगती है ।अतः कोशिश करें कि साबुन से हाथ धोने के बाद दिन में कम से कम दो-तीन बार किसी भी चिकनाई जैसे सरसों का तेल ,बोरोलिन 
       या 
ग्लीसरीन में नींबू और गुलाब जल बराबर मात्रा में  मिलाकर रखें और लगाएं। 
यदि यह समस्या अधिक है और बार-बार कट लग जाते हैं तो बोरोलिन के साथ-साथ हरिद्रा खंड का सेवन करें।

परहेज
          दूध ,मलाई और नमक से बनी चीजों का सेवन एक साथ कभी ना करें। नमक वाली चीजों के साथ मक्खन ,दही और पनीर का इस्तेमाल करें ।दूध और मलाई के साथ मीठा सेहत के लिए ठीक रहता है ।दूध ,मलाई और नमक इकट्ठे खाने से धीरे-धीरे हमें 
त्वचा संबंधी समस्याएं शुरू हो जाती हैं।

फंगल इन्फेक्शन
          फंगल इन्फेक्शन होने पर त्वचा पर देसी घी लगाए।

विडंगासव
             विडंगासव पेट के कीड़ों को समाप्त करने  के लिए एक बेहतरीन दवाई है। किसी भी तरह के कीड़े 3 या 4 दिन में समाप्त हो जाते हैं ।कई बार कीड़े और उनके अंडे पेट की आंतों में चिपक जाते हैं । जिन्हें समाप्त होने में लंबा समय लगता है ।इसलिए आवश्यकतानुसार दवाई रात को सोते समय लेते रहे ।यह पेट संबंधी अन्य समस्याओं को भी दूर करता है ।

बच्चों को समय समय पर विडंगासव पेट के कीड़ों को दूर करने के लिए दे देना चाहिए।

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